बरेली:- ऊर्जा मंत्रालय ने डीएम, एसएसपी समेत अन्य अफसरों के घरों की बिजली भी प्रीपेड करने के निर्देश दिए हैं। सरकारी आवासों में रह रहे सभी कर्मचारियों के आवासों की बिजली भी प्रीपेड की जाएगी। बिजली अफसरों के अनुसार नए साल में सरकारी आवासों की बिजली प्रीपेड करने की तैयारी की जा रही है। माना जा रहा है कि अफसर तबादला आदेश आने पर बिना बिजली बिल भुगतान किए ही रवानगी करा लेते हैं। इस वजह से बिजली विभाग का अफसरों पर 28 करोड़ से ज्यादा फंसा हुआ है। योगी सरकार के निर्देश पर ईईएसएल द्वारा पहले चरण में सुभाष नगर और जगतपुर इलाके में प्रीपेड स्मार्ट मीटर लगाने का काम शुरू किया जा रहा है। दो महीने में अन्य इलाकों में भी मीटर लगने की तैयारी की जा रही है। 40 फीसदी इलाको में प्रीपेड मीटर लगाने का लक्ष्य है। इसकी पूर्ति के लिए तेजी से कार्य कराया जा रहा है। इसकी जिम्मेदारी ईईसीएल को दी गई है। 5 जनवरी 2020 से सभी इलाकों में प्रीपेड मीटर लगाने के साथ ही डीएम, एसएसपी, सीडीओ, एडीएम समेत सभी अफसरों के बंगलों की बिजली भी प्रीपेड की जाएगी। बंगलो में मीटर लगाने से पहले बिजली विभाग नोटिस के माध्यम से बकाया वसूली के लिए नोटिस जारी करेगा। सभी विभागों को दिसंबर तक बिल जमा कराने की मंशा जताई जा रही है। बकाया जमा कराने के बाद ही बंगलो और कर्मचारियों के सरकारी आवासों को बिजली प्रीपेड हो सकेगी। अप्रैल महीने में चीफ इंजीनियर के माध्यम से उर्जा मंत्रालय को रिपोर्ट सबमिट की जाएगी।
बिजली विभाग पर अफसरों का 28 करोड़ बकाया
स्थानांतरण पर जाने वाले अफसर बिजली विभाग का बिल जमा करके नहीं जाते हैं।बिना बिल जमा किए ही रवानगी कराई जाती है। शासन के निर्देश पर वर्तमान में अफसरों के तबादला होने पर बिजली विभाग की एनओसी मांगी जाती है यदि बिजली विभाग का बकाया है तो जमा कराने का आग्रह किया जाता है। इसके बाद की रवानगी दर्शायी जाती है। बिजली विभाग की सरदर्दी काफी हद तक कम हो जाएगी।
रिपोर्टर:- कपिल यादव